देहरादून उत्तराखंड सेवानिवृत्त कर्मचारी समन्वय समिति ने आठवें वेतन आयोग के लिए पेंशन नीति निर्धारित करने में पेंशन की पूर्व व्यवस्था को यथावत रखने की मांग की है। संगठन ने इस संबंध में सोमवार को जिलाधिकारी के माध्यम से प्रधानमंत्री को ज्ञापन भेजा। समिति ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के निर्णयानुसार पूर्व पेंशनर्स और वर्तमान पेंशनरों को एक ही श्रेणी में रखते हुए समान पेंशन का लाभ आठवें वेतन की सिफारिशों में शामिल किया जाए। उन्होंने कहा कि सातवें वेतन आयोग द्वारा भी पूर्व और वर्तमान पेंशनरों को समानता प्रदान करते हुए वेतन, पेंशन के ढांचे की संरचना की थी। उन्होंने कहा सातवें वेतन आयोग की संस्तुति वर्ष 2016 में भारत सरकार द्वारा स्वीकार की जा चुकी है। लिहाजा, अब इसमें विभेद करने का अधिकार प्राप्त करने का प्रयास करना उचित नहीं है। मांग नहीं मानने पर पेंशनर्स ने राज्य व्यापारी आंदोलन की चेतावनी दी है। ज्ञापन देने वालों में नवीन नैथानी, हरीश नौटियाल, एसएस वाल्दिया, यूएस महर, महावीर सिंह पंवार, बीएस रांगड़, बीडी जोशी, ओमवीर सिंह, डीसी शर्मा, विष्णु दत्त बेंजवाल आदि मौजूद थे।
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